शिक्षण के विषय में पढ़िए -
"एक कटु सत्य शिक्षण में सबसे ज्यादा कठिनाई बच्चों को पढ़ाने में होती है बड़े बच्चों को तो केवल परामर्शन एवं निर्देशन की आवश्यकता होती है वे अध्यापक सबके गुरु हैं जो बच्चों को पढ़ाते हैं "
Complex Nature of teaching ( शिक्षण एक जटिल प्रक्रिया )
जब मैंने खुद ने ये सुना कि शिक्षण एक जटिल प्रक्रिया है। सोचने लगी कैसे जटिल प्रक्रिया है किताब हाथ में हो और अपने कन्सेप्ट किल्यर हों, पढ़ाने में क्या है पर सच में इसका मतलब बी• एड• करते हुए समझ आया जब Lesson Plan बनाते समय Introduction से लेकर Evaluation तक सोचना पड़ता था कि पाठ की शुरुआत कहां से की जाये और कैसे की जाये।
"शिक्षण एक अन्तः प्रक्रिया है जो शिक्षक और छात्र के मध्य किसी विशिष्ट उद्देश्य को लेकर की जाती है।" एक शिक्षक को पढ़ाते समय कई कार्य करने होते हैं ।
जैसे -
1) Planning (नियोजन )
2) Organizing (संगठन)
3) Leading/Presentation(अग्रसरण)
4)Controlling/ Evaluation नियंत्रण एवं मूल्यांकन
PLANNING -प्लानिंग करते समय शिक्षक Instructional Objectives को देखते हैं जिसमें कुछ प्रमुख हैं
1) Task Analysis - जिसमें Content Analysis, JobAnalysis & Skill Analysis को देखते हैं ।
2) शिक्षण उद्देश्यों को निश्चित करना।
(A- ज्ञानात्मक उद्देश्य - जिसमें सूचना, ज्ञान और तथ्यों की जानकारी आता है।
B)- भावात्मक उद्देश्य - जिसमें अभिवृत्ति,रुचि तथा मूल्यों का विकास आता है।
C)- क्रियात्मक उद्देश्य - इसमें शारीरिक क्रियाओं तथा कौशलों का विकास आता है।
3) लर्निंग उद्देश्यों को लिखना।
ORGANIZING - इसमें पूर्वव्यवहार को ध्यान में रखते हैं
1) उपयुक्त शिक्षण विधि का चयन
2) उपयुक्त सम्प्रेषण "communication" विधि का चयन
3) उपयुक्त दृश्य-श्रृव्य सामग्री का चयन
●दृश्य सामग्री - ग्लोब, चित्र, ग्राफ आदि
● श्रृव्य सामग्री - टेपरिकाॅर्डर, रेडियो, ग्रामोफोन आदि
● दृश्य-श्रृव्य सामग्री - टेलीविजन, कम्प्यूटर, फिल्म, प्रोजेक्ट आदि
PRESENTATION - इसमें मुख्यतः दो बातों पर ध्यान दिया जाता है।
1) Selection of communication strategies
2) Organizing of Reinforcement & Motivation
EVALUATION - अन्त में मूल्यांकन किया जाता है उस समय शिक्षक को यह ध्यान रखना होता है कि उसने जो पाठ जिस उद्देश्य की पूर्ति के लिए पढ़ाया है वह उद्देश्य पूरा हुआ या नहीं।
अतः इन सभी बातों का ध्यान रखने एवं पढ़ाने के दौरान सही समय पर सही विधि को प्रयोग करने के कारण शिक्षण एक जटिल प्रक्रिया है। आज शिक्षण करते समय कठिनाइयों का सामना जो करना पड़ता है उसका मुख्य कारण है सही से पाठ की प्लानिंग नहीं करना। सबसे ज्यादा कठिनाई आती है Content Analysis करने में क्योंकि शिक्षक सही से पाठ का विश्लेषण नहीं कर पा रहे हैं ।इसीलिए सबसे पहले आवश्यक है पाठ को सबटाॅपिक में डिवाइड़ कीजिए फिर Sub- sub topic में डिवाइड़ कीजिए । ऐसे किसी भी पाठ को अच्छे से पढ़ाया जायेगा और कोई भी महत्वपूर्ण जानकारी देने से नहीं बचेगी। छात्रों को भी पाठ ज्यादा समय तक याद रहेगा।
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